








श्रीडूंगरगढ़ टाइम्स 29 फरवरी 2024। आज तक श्रीडूंगरगढ़ के निवासियों की बड़ी समस्या थी कि यहां नगरपालिका प्रशासन बिना किसी नियम-कायदे के मनमर्जी से चल रही है। लेकिन अब हालात यह बन गए है कि बिना तैयारी, बिना संसाधन और बिना स्टाफ के ही पालिका प्रशासन द्वारा सख्ती से जनता पर नियम थोपे जाने के कारण शहरवासी खासे परेशान हो रहे है। यहां प्रशिक्षु आईएएस को पालिका ईओ लगाने के बाद सारे काम नियमों में करवाने के प्रयासों के चलते श्रीडूंगरगढ़ नगरपालिका ने शहर में बिना नगरपालिका की अनुमति के हो रहें भवन निर्माण कार्यों को बंद करने के फरमान गत 22 फरवरी को जारी कर दिए गए है। नियमानुसार आदेश व कार्रवाई सराहनीय पहल है परंतु बिना तैयारी व बिना स्टाफ के इस आदेश से आम जन बुरी तरह से परेशान हो कर प्रशासनिक जल्दबाजी कहते हुए आक्रोश जता रहा है। इन कार्यों के बंद से होने से करीब ढाई से तीन हजार श्रमिक बेरोजगार हो गए है और उनके घरों का हाल बेहाल हो रहा है। पढें हाल-ए-जन पर विस्तृत रिपोर्ट।
दिया आदेश, बंद हुए सभी निर्माण।
श्रीडूंगरगढ़ टाइम्स। ईओ यक्ष चौधरी ने गत 22 फरवरी को बिना अनुमति चल रहें निर्माण कार्य बंद करवाने का आदेश दिया। चौधरी ने आदेश में विभिन्न स्थानों पर बिना अनुमति चल रहें निर्माण कार्यों से पालिका को राजस्व हानि होना बताते हुए तत्काल बंद करवाया जाना सुनिश्चित करने की बात कही। शहर में कई कार्यों को पालिका कार्मिकों द्वारा खड़े रह कर बंद करवा दिए गए एवं बंद करवाए गए 50 से अधिक निर्माण कार्यों को चिह्नित कर उन्हें नोटिस भी थमाए गए है।
12 माह पहले की फाइलें भी अटकी, आमजन परेशान।
श्रीडूंगरगढ़ टाइम्स। कस्बे में अपने घरों के निर्माण हेतु पालिका से निर्माण अनुमति के लिए अनेकों लोगों ने 12 महिने पहले फाइलें लगाई आज तक उन्हें भी अनुमति नहीं मिल पाई है। वे लोग मकान बनाकर उसमें रहने भी लगे है परंतु अनुमति अभी तक जारी नहीं हो सकी है। हालांकि निर्माण अनुमति के लिए आम जन भी इच्छुक रहते है क्योंकि इसके बिना कोई बैंक लोन भी नहीं हो पाता। ऐसे में अनेकों चक्कर लगाने के बाद भी निर्माण अनुमति नहीं मिल पाती है तो आमजन मजबूर होकर अपना निर्माण अपने स्तर पर ही करवा रहें है। लेकिन शहर में अब लागू कि गई व्यवस्था के अनुसार तो अनुमति के अभाव में निर्माण कार्य हो नहीं पाएंगे और इससे निर्माणकर्ता व श्रमिक दोनों वर्ग ही बुरी तरह से परेशान होंगे।
कैसे मिलेगी अनुमति.? कोई पूर्व तैयारी नहीं।
श्रीडूंगरगढ़ टाइम्स। पालिका में जेईएन की पोस्ट ही रिक्त है और बिना जेईएन के मौका रिपोर्ट नहीं हो सकेगी तो अनुमति मिलेगी कैसे.? अनुमति के लिए ऑनलाइन अनुमति की चर्चाएं भी बाजार में गर्मा रही है जिसके बाद लोग ई-मित्र के चक्कर काट रहें है। वहीं एक नया दलाल वर्ग अनुमति के नाम पर भी सक्रिय हो गया है और आवेदन के साथ ही 15 से 30 हजार रुपए तक की मांग आवेदकों से कर रहें है। ऐसे में निर्माण बदं होने से निर्माणकर्ताओं को भारी नुकसान होगा। पालिका में अनुमति कैसे दी जाएगी इसके लिए कोई पूर्व तैयारी नहीं की गई।
श्रमिक वर्ग बेहाल है।
श्रीडूंगरगढ़ टाइम्स। निर्माण कार्य बंद होने से अनट्रेंड श्रमिक वर्ग ढाई से तीन हजार के बीच बेरोजगार हो गए है। वे अपने ठेकेदारों को रोजाना फोन कर काम पर आने के लिए पूछ रहें है। वहीं ठेकेदार भी नुकसान की आशंकाओं से घिरे परेशानी में उलझे है। कुछ श्रमिक तो रोजाना कमाकर रोजाना घर चलाने वाले भी है जो इस अनुमति के पेच का शीघ्र सुलझा कर बस अनुमति जारी किए जाने की बात कह रहें है।