श्रीडूंगरगढ टाइम्स 9 मई 2020। वर्तमान जब पूरा देश कोरोना के संकट से जुझ रहा है और साफ सफाई का प्रयास भी पूरे देश में किए जा रहे है। क्षेत्र में भी सफाई कांर्मिको को कोरोना योद्धा मान कर जगह जगह उनका सम्मान किया जा रहा है। ऐसे में कुछ लोगो की लापरवाही पूरे कस्बे को शर्मिंदा कर रही है। कस्बे के मान को शर्मिंदा करने वाली ऐसी ही घटना हुई कस्बे के बिग्गाबास में, जहां एक परिवार ने घर की सफाई करने के बाद बड़ी संख्या ने निकाले गए कबाड़, कचरे, पुराने कपड़ो को पालिका की कचरा संग्रहण टेक्सी का इंतजार किये बिना सीधे गली में फेंक दिया। कचरा फेंकने के बाद पूरी गली में बेसहारा पशुओं ने इस कचरे में मुंह मारते हुए इसे फैला दिया और पूरी गली में गंदगी फैल गयी। वहां से गुजर रहे जागरूक नागरिकों ओर आस पडोस के लोगो ने भी कचरा फेंकने वालो की निंदा करते हुए रोष जताया है और कस्बे के प्रति हम सभी की सामूहिक जिम्मेवारी समझने की अपील की है। इन जागरूक कस्बेवासियों ने पालिका प्रशासन को इसकी शिकायत करते हुए कचरा उठवाने ओर दोषी परिवार के खिलाफ कार्यवाही करने की मांग की है।
बड़ा सवाल, क्या कस्बे की सफाई केवल पालिका की जिम्मेदारी..?
श्रीडूंगरगढ़ टाइम्स। कस्बे में देखें तो ऐसी घटनाएं आये दिन होती है और हर घटना यही बड़ा सवाल पैदा करती है कि क्या कस्बे की सफाई की जिम्मेदारी केवल पालिका की ही होती है ..? क्या हम सब नागरिकों की इसमें जागरूक नागरिक के रूप में कोई जम्मेदारी नहीं हो सकती..? श्रीडूंगरगढ़ टाइम्स के जागरूक पाठक राकेश जोशी ने रोष जताते हुए कहा कि अपना घर साफ कर लो और अपना शहर गंदा कर दो, यह कैसी समझदारी है। हालात यह है की कहीं गंदगी नजर आते ही नगरपालिका को दोष मंढ़ते कई पार्षद और कई नेता नजर आ जाएंगे। नगरपालिका उत्तरदायी है सफाई व्यवस्था के लिए तो दोष भी उन्हें मिलना लाजमी है परन्तु देश के प्रति कस्बे के प्रति क्या हम सबकि सामूहिक जिम्मेदारी नहीं है। आओ हम सब कस्बेवासी सफाई व्यवस्था में सहयोगी बनना सीख सकें। कोरोना शायद यही सीखाने तो आया है।
