June 24, 2025
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श्रीडूंगरगढ़ टाइम्स 5 जुलाई 2021। सरकारी विभागों की मनमानी और किसानों की परेशानी का साथ तो स्वतंत्र भारत में छुटेगा नहीं और अब क्षेत्र के गांव उदरासर में किसानों की परेशानी कारण बैंक और बीमा कम्पनी बन गई है। गांव के 100 से अधिक किसान अकाल घोषित वर्ष 2019-20 और 2020-21 में अपने बीमा क्लेम की राशि का भुगतान करने की मांग लगातार बैंक व बीमा कम्पनी से कर रहें है। इन किसानों को बीमा क्लेम की राशि नहीं मिल पाई है और किसान दो वर्षों से मोमासर एसबीआई बैंक के चक्कर लगा रहें है। परेशान किसान बीमा कम्पनियों के अधिकारियों को फोन कर रहें है और कभी बैंक अधिकारियों को क्लेम राशि देने के पत्र सौंप रहें है। बीमा कम्पनी वाले बैंक की लापरवाही बता रहें है और बैंक बीमा कम्पनी की गलती करार दे रही है। सवाल ये है कि गलती किसी की हो उसका भुगतान किसानों को ही करना है। किसानों द्वारा अपने सही आधार कार्ड व केसीसी के दस्तावेज जमा करवाने के बावजूद उनके खेत के स्थान पर अन्य जगहों पर बीमा काट दिया गया और राशि का भुगतान नहीं हो रहा है। किसान नारायणराम पुत्र गिरधारीराम जाट ने बताया कि मेरी खातेदारी भूमि उदरासर की रोही में है और एक बार भी क्लेम की राशि नहीं मिल पाई है क्योंकि गांव का नाम सही दस्तावेज देने के बाद भी उदासर चारणान भर दिया गया है। ऐसे किसान हुकमाराम गोदारा का खेत उदरासर रोही में ही है और फसल बीमा जैसलसर की काट दी जिससे किसान को भुगतान नहीं किया जा रहा है। चोरूराम की फसल सत्तासर और इसी तरह रामचंद्र गोदारा, माली देवी, भगवानाराम नाई, चोरूराम शर्मा, लेखराम गोदारा, गोपाल देहडू, राजूराम देहडू, सीता देवी, मांगीलाल गोदारा, भींयाराम गोदारा, सत्यनारायण नाई, श्रवणराम गोदारा सहित अनेक किसान ऐसे है जो मोमासर ब्रांच में लगातार दो वर्षों से चक्कर काट रहें है। इन किसानों का कहना है कि दोषी बैंक हो या बीमा कम्पनी इस लापरवाही का खामियाजा हमसे क्यों वसूल किया जाए जबकि हमने सही दस्तावेज दिए थे। अब ये किसान अधिकारियों व नेताओं से मिल कर अपनी राशि दिलवाने की गुहार लगाने पर विचार कर रहें है।

मोमासर एसबीआई ब्रांच मैनेजर ने कहा ये।
श्रीडूंगरगढ़ टाइम्स। मोमासर एसबीआई ब्रांच में कुछ दिन पूर्व ही जॉइन करने वाले मैनेजर राकेश ओला ने कहा कि पूरा मामला संज्ञान में लेकर बैंक द्वारा जो कार्रवाई हो सकती है हम वो पूरी करने का प्रयास करेंगे।