श्रीडूंगरगढ़ टाइम्स 4 सितबंर 2023। क्षेत्र के गांव सोनियासर मिठिया में 2006 में हुए हत्या के प्रकरण में आज बीकानेर न्यायालय में 8 जनों को उम्रकैद की सजा सुनाई गई है व साक्ष्य के अभाव में 4 जनें बरी हुए है। न्यायालय एससी/एसटी कोर्ट के न्यायिक अधिकारी विनोद कुमार वाजा ने एससी/एसटी एक्ट से जुड़े इस मामले में निर्णय करते हुए 8 मुलजिमान को आजीवन कारावास व अर्थदंड दिया है। मामले में आरोपी जेठाराम, डेलूराम, धन्नाराम, चीमादेवी, ईमादेवी, मनोहरलाल, घासीराम व सीताराम को दोषी मानते हुए आजीवन कारावास की सजा सुनायी गयी है व अर्थदंड के रूप में दो हजार रूपये से दंडित किया गया है।
ये था मामला।
श्रीडूंगरगढ़ टाइम्स। गांव सोनियासर मिठिया बास में परिवादी रामकरण, श्रवणराम व तीजा मेघवाल ने आरोपी रेखाराम, जेठाराम, डेलूराम, दीपाराम, धन्नाराम, चीमादेवी, ईमादेवी, मनोहरलाल, रतिराम, चतराराम, देवाराम, घासीराम, सीताराम के खिलाफ दिनांक 01.02.2006 को खेत में घुसकर गण्डासी, लाठी, बरछी, कुल्हाड़ी, जेई जैसे हथियारों से परिवादी पर जानलेवा हमला किया। जिससे परिवादी रामकरण के शरीर पर गंभीर चोटे आने के कारण दौराने इलाज उसकी मृत्यु हो गयी व श्रवणराम व तीजादेवी के गंभीर चोटे आयी। न्यायालय में इनके विरूद्ध चालान प्रस्तुत किया गया। न्यायालय में धारा 147, 148, 302,302/149, 149, 323, 323/149, 307, 325, 325 / 149 व 3 एससी/एसटी एक्ट का चार्ज मुलजिमान के विरूद्ध लगाया गया। न्यायालय के समक्ष विशिष्ठ लोक अभियोजक कुंवरकुंदन व्यास ने अभियोजन पक्ष की तरफ से कुल 30 गवाह के बयान करवाए। गंडासी, लाठी, बर्छा, हथियारों व मेडिकल रिर्पोट व एफएसएल रिपोर्ट आदि पेश किए गए।
न्यायालय ने व्यास द्वारा कराये गये गवाहान के बयानात व दस्तावेजात, वजह सबूत, एफएसएल व हथियारों की रिर्पोट व मौका की रिर्पोट के आधार पर अलग अलग धाराओं में अलग अलग सजा सुनाते हुए सभी चार्ज को प्रमाणित माना। मुलजिमान जेठाराम, डेलूराम, धन्नाराम, चीमादेवी, ईमादेवी, मनोहरलाल घासीराम व सीताराम को दोषी मानते हुए आजीवन कारावास की सजा सुनायी गयी व अर्थदंड के रूप में दो हजार रूपये से दंडित किया गया है। मुलजिम रेखाराम, रतिराम, चतराराम, दीपाराम को साक्ष्य के अभाव में बरी किया गया है। एक अन्य आरोपी दीपाराम की दौराने अन्वीक्षा मृत्यु हो जाने के कारण उसके विरूद्ध कार्यवाही ड्रॉप की गयी।